राजधानी देहरादून में दशहरे पर रविवार को रावण के पुतले का दहन तो होगा लेकिन मेला नहीं लगेगा। आयोजन के लिए आयोजकों को सिटी मजिस्ट्रेट या एसडीएम से परमिशन लेनी होगी। रावण, कुंभकर्ण और मेघनाद का पुतला 10 फीट से अधिक बड़ा नहीं होगा। पुतला दहन में आयोजकों समेत केवल 50 लोग ही शामिल हो सकेंगे। इसके अलावा मेला नहीं लगेगा।
जिलाधिकारी डॉ. आशीष कुमार श्रीवास्तव ने बताया कि कोविड-19 नियमों के पालन के साथ ही अनुमति दी गई है। कोरोना संक्रमण को देखते हुए दशहरा के कार्यक्रम में अधिक लोगों को शामिल होने की अनुमति नहीं दी जा सकती है।
लोगों से अपील है कि वह भी सहयोग करें। अगर कोई आयोजक बगैर प्रशासन के अनुमति के पुतला दहन करता है तो उसके खिलाफ आपदा प्रबंधन अधिनियम के तहत कार्रवाई की जाएगी।
एसडीएम व सिटी मजिस्ट्रेट को सौंपी जिम्मेदारी
दशहरा पर कानून व्यवस्था बनी रहे, इसके लिए जिलाधिकारी ने एसडीएम व सिटी मजिस्ट्रेट को जिम्मेदारी सौंपी है। जिसके तहत सिटी मजिस्ट्रेट को पूरा नगर क्षेत्र, एसडीएम विकासनगर, चकराता, कालसी, डोईवाला, देहरादून, ऋषिकेश और मसूरी को भी अपने क्षेत्र में पर्व शांतिपूर्वक संपन्न कराने के निर्देश दिए हैं। पर्व संपन्न होने के बाद इसकी रिपोर्ट एडीएम प्रशासन को देने के भी निर्देश दिए।