Fiddlehead Ferns: This Mountain Vegetable is Healthier Than Meat, Packed with Protein and Calcium
स्वास्थ्य के लिए फायदेमंद है फिडलहेड फर्न्स:
पहाड़ों पर मिलने वाली यह सब्जी स्वाद के साथ सेहत को जबरदस्त फायदे देती है। इसमें शरीर के लिए सभी जरूरी पोषक तत्व भरे हुए हैं। यह दिल को स्वस्थ रखने और डायबिटीज जैसी कई बीमारियों से बचाने में मदद करती है। इसकी हल्की तीखी मिठास जुबान पर देर तक बनी रहती है, और इसका स्वाद लंबे समय तक याद रह जाता है।
यह कोई विदेशी सब्जी नहीं है, बल्कि पहाड़ों पर उगने वाली एक जंगली सब्जी है। अगर आप पहाड़ी हैं, तो यकीनन आपने यह जरूर खाई होगी। उत्तराखंड, हिमाचल और जम्मू-कश्मीर जैसे पहाड़ी राज्यों में इसे लिंगुड़ा या लिंगुड़ के नाम से जाना जाता है। इसका आकार एक वायलिन (फिडल) वाद्ययंत्र जैसा होता है, इसलिए इसका अंग्रेजी नाम फिडलहेड फर्न्स है।
मौसम और उपलब्धता:
फिडलहेड फर्न्स विशेष रूप से मानसून के दौरान, यानी बरसात के मौसम में पाई जाती हैं। यह सब्जी पहाड़ी इलाकों में बारिश शुरू होते ही उगने लगती है और जुलाई से सितंबर तक आसानी से उपलब्ध रहती है। इस समय इसका सेवन स्वास्थ्य के लिए अत्यधिक लाभकारी माना जाता है।
पत्तल में जंगल का मंगल!’
‘पत्तल में जंगल का मंगल!’। इसका अर्थ है जंगल से प्राप्त होने वाली जंगली सब्जियां जो स्वास्थ्य के लिए लाभकारी हैं। इनमें कुछ खाद्य पदार्थ दुनिया के सबसे महंगे माने जाते हैं, जैसे कश्मीरी गुच्छी, इटली के मोरल्स और इंग्लैंड के ट्रफल्स। इस बीच, हम यह भूल जाते हैं कि हमारे देश के आदिवासी और ग्रामीण लोग सदियों से इन्हीं जंगलों की पैदावार पर निर्भर रहे हैं।
फिडलहेड फर्न्स के पोषक तत्व:
यह स्वादिष्ट सब्जी कैलोरी, फैट और कोलेस्ट्रॉल में कम होती है, लेकिन विटामिन, प्रोटीन और खनिज तत्वों से भरपूर होती है। इसमें एंटीऑक्सिडेंट्स और फैटी एसिड्स की प्रचुर मात्रा होती है, जो इसे एक सुपरफूड बनाते हैं। इसके सेवन से दिल स्वस्थ रहता है, कैंसर और डायबिटीज जैसी बीमारियों से लड़ने में मदद मिलती है। साथ ही, यह कैल्शियम का बेहतरीन स्रोत है, जो हड्डियों को मजबूत बनाए रखने में सहायक है।
पोषक तत्वों की मात्रा (एक कप पकी हुई लिंगुड़ा):
- कैलोरी: 46
- फैट: 1 ग्राम
- कोलेस्ट्रॉल: 0 मिलीग्राम
- कार्ब्स: 8 ग्राम
- फाइबर: 3 ग्राम
- प्रोटीन: 6 ग्राम
- विटामिन सी: 31 मिलीग्राम
- आयरन: 2 मिलीग्राम
- पोटेशियम: 501 मिलीग्राम
स्वाद और उपयोगिता:
फर्न के पौधों में फूल या फल नहीं होते, और उनके बीजाणु प्रजनन के लिए काम आते हैं। इसके स्वाद को बनाए रखने के लिए इसे हल्के मसालों के साथ पकाना सबसे अच्छा होता है। पश्चिमी देशों में इसे उबालकर मक्खन में हल्का तला जाता है। भारतीय व्यंजनों में इसे सरसों के तेल और मसालों के साथ भी पकाया जाता है, और कई घरों में इसका अचार भी बनाया जाता है। इसके अचार से इसकी प्राकृतिक तीखी मिठास का आनंद सालभर लिया जा सकता है।
फिडलहेड फर्न्स और पाक कला:
प्रयोगात्मक शेफ और हस्तियां इसे विशेष गार्निश के रूप में इस्तेमाल कर रही हैं। यह नॉन-वेज व्यंजनों के साथ भी अच्छा संयोजन बनाता है। इसका सेवन करने से न केवल इसका स्वाद याद रह जाता है, बल्कि स्वास्थ्य के लिए भी यह अत्यधिक लाभकारी होता है। जैसे-जैसे इसकी लोकप्रियता बढ़ रही है, यह अब शहरों और किसानों के बाजारों में आसानी से उपलब्ध होने लगा है।
स्वस्थ शरीर के लिए प्राकृतिक तोहफा:
इस सब्जी का स्वाद थोड़ा तीखा और मीठा होता है, जो जुबान पर लंबे समय तक टिकता है। फिडलहेड फर्न्स में विटामिन सी, पोटेशियम और फाइबर की प्रचुर मात्रा होती है, जो शरीर की प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाने, हृदय रोगों से बचाने और हड्डियों को मजबूत करने में सहायक होती है। यह सब्जी बाजार में आसानी से उपलब्ध नहीं होती, लेकिन जो लोग इसे पहचानते हैं, वे इसके स्वास्थ्य लाभों के लिए इसे जरूर अपने भोजन में शामिल करते हैं।